आज से आम लोगों के लिए खुल गया बापू टावर, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किया लोकार्पण ….

रिपोर्ट – राहुल प्रताप सिंह

बिहार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 2 अक्टुबर गांधी जयंती के दिन पटना के गर्दनीबाग मे नवनिर्मित बाबू टावर का लोकार्पण किया । मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा है कि बापू टावर बहुत ही भव्य बना है। यह लोगों के लिये दर्शनीय होगा। टावर में आकर बापू की जीवनी, उनके विचारों और उनके आदर्शों को जानने का मौका मिलेगा। खासकर नई पीढ़ी गांधी को जान सकेगी।

क्या है छह मंजिला बापू टावर ?

छह मंजिल बापू टावर दो भागों मे बंटा हुआ है । एक आयताकार और शंकुकार भवन है । इसमे महात्मा गांधी के लंदन से लेकर दक्षिण अफ्रीका प्रवास तथा भारत आगमन की पूरी कहानी का वर्णन किया गया है । इस टावर के आयताकार भवन में तीन प्रदर्श गैलरी, प्रेक्षागृह, अस्थायी प्रदर्शनी दीर्घा, कार्यालय कक्ष, प्रतीक्षालय, म्यूजियम शॉप एवं जलपान गृह है। आयताकार भवन के प्रथम गैलरी में गांधी के आरंभिक जीवन से लंदन एवं दक्षिण अफ्रीका प्रवास तथा भारत आगमन की कहानी वर्णित है। द्वितीय गैलरी में गांधी के रचनात्मक कार्यक्रम एवं स्वतंत्रता आंदोलन में उनके द्वारा निभाये गये नेतृत्व की गाथा है। तृतीय गैलरी में मुख्यमंत्री द्वारा दिनांक 10 अप्रैल 2017 को प्रारंभ हुए चंपारण शताब्दी समारोह के दौरान आयोजित कार्यक्रमों की जानकारी है।

‘बापू टावर’की आधिकारिक वेबसाइट का भी लोकार्पण

इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने ‘बापू टावर’ की वेबसाइट का भी लोकार्पण किया। इस वेबसाइट के माध्यम से लोग टावर के बारे में विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सकेंगे। सीएम नीतीश ने बापू टावर की प्रशंसा करते हुए कहा कि यह टावर बहुत भव्य और दर्शनीय है, नई पीढ़ी महात्मा गांधी के जीवन और विचारों को बेहतर ढंग से समझ सकेगी. टावर में गांधी जी के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान, बिहार से उनके जुड़ाव और उनके आदर्शों को प्रदर्शित किया गया है. इसके साथ ही उन्होंने परिसर को हरा-भरा और व्यवस्थित बनाए जाने की भी सराहना की.

बापू टावर 2018 मे बनना शुरू हुआ था

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के निर्देश पर बापू टावर का निर्माण कार्य 2018 में शुरू किया गया था, जिसका उद्देश्य गांधी जी के विचारों और आदर्शों को आम जनता तक पहुंचाना था. 84.49 करोड़ रुपये की लागत से बने इस टावर में गांधी जी के जीवन से जुड़े महत्वपूर्ण घटनाओं और बिहार के स्वतंत्रता संग्राम में उनके योगदान को दर्शाने वाली विभिन्न गैलरी बनाई गई हैं. टावर का मुख्य आकर्षण 102 फीट ऊंचा शंकुकार भवन है, जिसमें गांधी जी के जीवन से जुड़ी जानकारियां म्यूरल, कटआउट, और स्क्रीन प्रोजेक्टर के माध्यम से प्रदर्शित की गई हैं.