केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान इन दिनों नीतीश कुमार को लेकर काफी पॉजिटिव दिख रहे है. यूं कहिए नीतीश कुमार की तारीफ कर रहे है. चिराग नीतीश का तारीफ करें तो दस सवाल राजनीती गलियारों मे उठना लाजिमी है.
बिहार में जदयू को नंबर वन पार्टी से नंबर तीन का पार्टी बनाने वाले चिराग पासवान अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ बेहतर स्थिति मे दिख रहे हैं. चिराग बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग को समर्थन करने से लेकर 2025 के विधानसभा चुनाव में नीतीश कुमार के अगुवाई में लड़ने के पक्ष में खड़े दिख रहे हैं. ऐसे में सवाल उठता है कि कभी बिहार में जेडीयू की ईंट से ईंट बजा देने का दम भरने वाले चिराग अब नीतीश कुमार साथ क्यों दे रहे है
चिराग पासवान नीतीश कुमार के साथ दो मुद्दे पर कदमताल करते नजर आ रहे है. पहला बिहार को विशेष राज्य का दर्जा मिलें दूसरा नीतीश कुमार के नेतृत्व मे आगामी विधानसभा चुनाव लड़ा जाएं. इन दो मुद्दे मे चिराग का साथ मिलते ही साफ हो गया विधानसभा चुनाव मे चिराग थोड़ा बहुत नीतीश का भी हनुमान बन जायेंगे.
चिराग पासवान इस बात को समझ गए हैं कि नीतीश कुमार के साथ सियासी अदावत रख कर बिहार में सियासत नहीं की जा सकती. नीतीश के साथ व्यक्तिगत नाराजगी की वजह से चिराग पासवान को 2020 में अकेले चुनाव लड़ना पड़ा था और यह सियासी तौर पर महंगा पड़ा था. जेडीयू के साथ दुश्मनी में चिराग ने नीतीश के तीर का निशाना डिगाने की कोशिश की, लेकिन उसमें अपना ‘बंगला’ भी खाली करना पड़ गया. बीजेपी भी चिराग से ज्यादा सियासी अहमियत नीतीश कुमार को देती रही है. सियासी ठोकर खाने के बाद चिराग इस बात को समझ गए हैं कि अब नीतीश कुमार के साथ तालमेल बैठाकर ही चलने में फिलहाल सियासी फायदा है. इसीलिए हर मुद्दे पर साथ खड़े नजर आ रहे हैं.